
इंटरनेशनल क्रिकेट में धमाका करने वाले महान भारतीय बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर और महेंद्र सिंह धोनी अपने डेब्यू पर वनडे में बिना खाता खोले वापस लौटे थे. सुरेश रैना, शिखर धवन और के श्रीकांत का भी हाल ऐसा ही था लेकिन इन सभी ने वनडे क्रिकेट में आगे चलकर धमाका किया.

क्रिकेट की दुनिया में जिस एक खिलाड़ी को भगवान का दर्जा हासिल है. वो खिलाड़ी जिसके नाम सबसे ज्यादा इंटरनेशनल रन है उनका वनडे डेब्यू निराशा के साथ शुरू हुआ था. 18 दिसंबर 1989 को सचिन रमेश तेंदुलकर ने पाकिस्तान के खिलाफ अपना वनडे डेब्यू किया था. 5वें नंबर पर बल्लेबाजी करने उतरे इस धुरंधर का खाता भी नहीं खुल पाया था. जब वनडे को सचिन तेंदुलकर ने अलविदा कहा तो उनके नाम 18426 रन थे जो आज भी वर्ल्ड रिकॉर्ड है.

दुनिया का एक मात्र कप्तान जिसने आईसीसी के तीन अलग अलग टूर्नामेंट को जीता है. महेंद्र सिंह धोनी का वनडे करियर भी निराशा के साथ शुरू हुआ था. वनडे से सर्वकालिक फनिशर में गिने जाने वाले पूर्व भारतीय कप्तान ने 23 दिसंबर 2004 को बांग्लादेश के खिलाफ डेब्यू किया था. इस मुकाबले में धोनी बिना कोई रन बनाए ही रन आउट होकर वापस लौट गए थे. जब उन्होंने अपना करियर खत्म किया तो 350 वनडे में उनके नाम कुल 10773 रन थे.

भारतीय टीम के बेहतरीन ऑलराउंडर और मैच विनर खिलाड़ी रहे सुरेश रैना के वनडे करियर का आगाज भी शून्य के साथ ही हुआ था. 30 जुलाई 2005 को श्रीलंका के खिलाफ वनडे डेब्यू पर महान स्पिनर मुथैया मुरलीधरन ने उनको एलबीडब्ल्यू आउट किया था. सुरेश रैना ने भारत के लिए 226 वनडे में 5615 रन बनाए.

भारत के स्टार ओपनर रहे शिखर धवन ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 20 अक्टूबर 2010 को पहला वनडे मैच खेलते हुए शून्य पर आउट हुए थे. तेज गेंदबाज क्लिंट मैक्के ने उनकी गिल्लियां बिखेर दी थी. निराशाजनक शुरुआत को पीछे छोड़ इस धुरंधर ने भारत की तरफ से 167 वनडे खेलते हुए 6793 रन बनाए हैं.

भारत के विस्फोटक ओपनर रहे कृष्णमाचारी श्रीकांत ने 25 नवंबर 1981 को इंग्लैंड के खिलाफ वनडे डेब्यू किया था. उनको इयान बॉथम ने बिना खाता खोले वापस लौटने पर मजबूर कर दिया था. श्रीकांत ने 146 वनडे मुकाबलों में 4091 रन बनाए हैं.
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