
रोज-रोज सिर दर्द होना सिर्फ थकान नहीं है
कई बार हमें लगता है कि सिर दर्द बस नींद पूरी न होने, तनाव, भूख या ज्यादा सोचने की वजह से होता है. हां, ये वजहें सिर दर्द का कारण बन सकती हैं, लेकिन अगर ये समस्या हर दिन बनी रहे, तो यह कोई सामान्य बात नहीं है. हर बार सिर दर्द होने पर दवा खा लेना भी इसका हल नहीं है. यह आपकी सेहत को और बिगाड़ सकता है.
सिर दर्द दिमाग की बीमारियों का पहला संकेत हो सकता है
लगातार सिर दर्द होना कुछ गंभीर बीमारियों की शुरुआत भी हो सकती है. जैसे माइग्रेन, ब्रेन ट्यूमर, ब्रेन हैमरेज, हाई ब्लड प्रेशर या फिर मेनिन्जाइटिस. इन सभी बीमारियों का एक आम लक्षण होता है – बार-बार सिर में दर्द.
माइग्रेन में सिर के एक हिस्से में बहुत तेज़ दर्द होता है, जो रोशनी या आवाज़ से और बढ़ जाता है. वहीं, ब्रेन ट्यूमर में दर्द सुबह उठते ही ज़्यादा होता है और उल्टी के साथ हो सकता है. अगर सिर दर्द के साथ उल्टी, चक्कर, धुंधला दिखना, बोलने में परेशानी या शरीर के किसी हिस्से में कमजोरी भी महसूस हो, तो यह खतरे की घंटी है.
कब आपको तुरंत डॉक्टर के पास जाना चाहिए?
अगर सिर दर्द लगातार बना रहे और दवाओं से भी आराम न मिले, तो तुरंत डॉक्टर से मिलें. अगर आपको कोई नई तरह का सिर दर्द महसूस हो रहा है, या दर्द की तीव्रता दिन-ब-दिन बढ़ रही है, तो देरी करना ठीक नहीं होगा.
खासकर अगर सिर दर्द के साथ बुखार, गर्दन में अकड़न, ध्यान केंद्रित करने में दिक्कत, या बोलने-सुनने में बदलाव हो रहा हो, तो यह गंभीर समस्या की ओर इशारा करता है.
लाइफस्टाइल सुधारें तो दर्द दूर हो सकता है
कई बार सिर दर्द का कारण हमारी जीवनशैली होती है. देर रात तक मोबाइल चलाना, नींद पूरी न लेना, पानी कम पीना और खराब खानपान भी सिर दर्द की वजह बनते हैं.
अगर आप रोज़ाना कम से कम 6 से 8 घंटे की नींद लें, स्ट्रेस कम करें, मोबाइल-टीवी का कम इस्तेमाल करें और ताजगी भरा खाना खाएं तो कई बार सिर दर्द बिना दवा के ही ठीक हो सकता है.
खुद से दवा लेना बन सकता है मुसीबत
बहुत से लोग सिर दर्द होने पर फौरन पेनकिलर ले लेते हैं. लेकिन बार-बार दवा लेना शरीर पर उल्टा असर डाल सकता है. इससे न सिर्फ आपकी किडनी और लिवर पर असर पड़ता है, बल्कि कई बार पेनकिलर का असर भी खत्म हो जाता है. इसलिए बिना डॉक्टर की सलाह के दवा न लें.