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Waqf Amendment Bill News: वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर राजनीतिक गुटबाजी और बयानबाजी का दौर लगातार जारी है. कई नेता पार्टी लाइन से हटकर बयान दे रहे हैं, तो कई इसके समर्थन में हैं.

जेडीयू एमएलसी गुलाम गौस ने एक बार फिर से वक्फ संशोधन विधेयक के खिलाफ बयान दिया है. (फाइल फोटो)
हाइलाइट्स
- वक्फ संशोधन बिल पर राजनीतिक नुराकुश्ती लगातार जारी
- नीतीश की पार्टी के एमएलसी ने खुलकर किया बिल का विरोध
- ईद के बहाने जेडीयू एमएलसी गुलाम गौस की लालू से मुलाकात
पटना. वक्फ संशोधन बिल पर लंबे समय तक विचार-विमर्श चला. अब सरकार इसे संसद में पेश करने की तैयारी कर रही है. केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा है कि वह 1 अप्रैल 2025 को बताएंगे कि वक्फ संशोधन बिल को संसद में कब पेश किया जाएगा. साथ ही उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा कि वक्फ बिल पर लोगों को गुमराह न किया जाए. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के एक दिग्गज मुस्लिम नेता ने वक्फ संशोधन बिल का एक बार फिर से खुलेआम विरोध किया है. इससे पहले जेडीयू के इस एमएलसी ने ईद के बहाने लालू प्रसाद यादव से मुलाकात की थी. बता दें कि जेडीयू वक्फ संशोधन बिल के समर्थन में है.
दरअसल, जेडीयू के एमएलसी गुलाम गौस ने वक्फ संशोधन बिल पर बड़ा बयान देते हुए इसका विरोध किया है. गुलाम गौस ने कहा है कि भारत में वह पहले शख्स हैं, जिन्होंने इसका विरोध किया है. गुलाम गौस न कहा कि वक्फ संशोधन बिल पूरी तरह से द्वेषपूर्ण है. जेडीयू एमएलसी ने कहा कि वक्फ हमारे पूर्वजों की जमीन है और यह हमारा धार्मिक मामला है. गौस ने कहा, ‘हमको उम्मीद है कि हमारे कहने से पहले वो पहल करेंगे.’ बता दें कि गुलाम गौस इससे पहले भी वक्फ संशोधन बिल पर अपना खुला ऐतरााज जता चुके हैं.
बयान से पहले लालू यादव से मुलाकात
वक्फ संशोधन बिल के विरोध में बयान देने से पहले JDU MLC गुलाम गौस ने लालू प्रसाद यादव से मुलाकात की थी. उन्होंने लालू से मिलकर उन्हें ईद की बधाई दी थी. हालांकि, इसके बाद सियासी कानाफूसी शुरू हो गई. इस बीच, जेडीयू नेता ने वक्फ संशोधन बिल पर बयान दे दिया. गुलाम गौस ने लालू यादव से मिलने के बाद बड़ा बयान दिया था. उन्होंने कहा था, ‘रमजान का महीना पाक साफ़ महीना होता है. एक महीने भूखे रहना रोजा नहीं होता. अपनी इंद्रियों पर काबू पाना रोजा होता है. असली जिहाद बुराइयों के ख़िलाफ लड़ना और अपने मन को पाक साफ रखना है. हम लोग एक दूसरे से अक्सर ही मिलते-जुलते हैं. ईद हो, होली हो या दशहरा सभी में मिलते हैं. इसको राजनीतिक एंगल न दें.’
सीएम नीतीश से कर चुके हैं यह मांग
जेडीयू एमएलसी गौस इससे पहले वक्फ संशोधन बिल का विरोध करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से इस मामले में हस्तक्षेप की मांग कर चुके हैं. गौस ने कहा था कि नीतीश कुमार ने मुसलमानों के लिए बिहार में कई बड़े काम किए हैं. मुझे उम्मीद है कि इस मामले में नीतीश कुमार सुनेंगे. दूसरी तरफ, लोकसभा सांसद और केंद्रीय मंत्री ललन सिंह बिल का खुलकर समर्थन कर चुके हैं. ललन सिंह ने लोकसभा में समर्थन जताते हुए अपने तर्क दिए थे. उन्होंने कहा था कि यहां मंदिर, गुरुद्वारे का उदाहरण दिया जा रहा है. मंदिर और गुरुद्वारे धार्मिक स्थल हैं, लेकिन वक्फ बोर्ड एक संस्था है. यह धार्मिक स्थल नहीं है. भले ही सरकार धर्म में दखल न दे, लेकिन किसी संस्थान में करप्शन हो तो फिर सरकार दखल क्यों नहीं दे सकती है.