आज हम आपको आत्मनिर्भर महिला विभा देवी के बारे में बताएंगे. दरअसल, भोजपुर जिले के उदवंतनगर थाना अंतर्गत सरथुआ गांव में एक महिला जो आत्मनिर्भर होकर घर में साबुन का निर्माण करती हैं. इतना ही नहीं बल्कि अपने गांव की कुछ महिलाओं और लड़कियों को भी इस ऑर्गेनिक साबुन बनाने की गुर को भी सीखा रही हैं ताकि अन्य महिलाएं, लड़कियां किसी पर बोझ ना बनकर खुद आत्मनिर्भर बने.
पहली कमाई 800 रुपए
विभा देवी आज सफल महिला हैं लेकिन इसके पीछे उनकी 18 साल की लंबी संघर्ष की कहानी भी है. विभा देवी के द्वारा लोकल 18 को बताया गया कि पहली बार 2007 में पति व ससुराल के लोगों के खिलाफ जाकर वो पार्लर का काम की थी जिसमें 800 रुपये मिले थे उसके बाद वो सिलाई का कार्य शुरू की फिर कृषि विभाग के आत्मा संस्था से जुड़ी वहां से साबुन बनाने का प्रशिक्षण लिया तब से पार्लर, सिलाई और साबुन का कार्य करते आ रही हैं.
इस तरीके से होते हैं साबुन
विभा देवी ने बताया कि वो घर में सोप बेस की मदद से सात प्रकार के साबुन बनाती हैं. सबसे पहले लूफा की साबुन तैयार करती हैं, जिसे बनाने के लिए नेनुआ के छिलके का इस्तेमाल करती हैं. उन्होंने बताया कि नेनुआ के छिलके को छोटा छोटा काट कर साबुन के अंदर डाल दिया जाता है, इससे शरीर पर जमे मैल, गंदगी को छुड़ाने के लिए अन्य किसी चीज की आवश्यकता नहीं होती.
इसी प्रकार नीम और तुलसी के साबुन जिसमें नीम और तुलसी के पत्ते को सुखाकर बनाती हैं. उसके बाद उबटन के साबुन बनाती है. जिसमें बेसन, हल्दी, चंदन पाउडर और मुल्तानी मिट्टी डालती है. फिर चारकोल के साबुन तैयार करती हैं. उन्होंने बताया कि चारकोल का साबुन चेहरे के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद है. इसे लगाने से चेहरे पर पिंपल्स नहीं आते है. उसके बाद विभा गुलाब का साबुन बनाती हैं. जिसे बनाने के लिए वो गुलाब फूल का इस्तेमाल करती है. इसी प्रकार एलोवेरा और संतरा के साबुन भी बनाती हैं.
25 से 50 रुपए होती है कीमत
उन्होंने बताया कि यह सभी प्रकार के साबुन बनाने में करीब 20 मिनट का समय लग जाता है. साबुन बनाने के दौरान विभा बेस, कलर, सुगंधी, तील तेल, जाफर का इस्तेमाल करती हैं. सबसे पहले एक बड़े से पतीले में पानी भरा जाता है, फिर उसके अंदर एक छोटा पतीला रख दिया जाता है, उसके बाद छोटे वाले पतीले में सोप बेस का टुकड़ा काट कर डाल दिया जाता है. साबुन बनाने में उनके साथ गांव की लगभग 15 महिलाएं भी कार्य करती हैं. हर दिन 20 से 25 साबुन बनाती है जिसकी कीमत 25 रुपए और 50 रुपए है.
उन्होंने बताया कि बेस को पिछले तक छोलनी से चलाया जाता है. उसके बाद इसमें कलर, सुगंधी, तील तेल और जाफर मिलाकर चलाया जाता है. करीब 20 मिनट तक क्रियाकलाप करने के बाद उसे एक सांचे में डाल दिया जाता है. वहीं ठंडा होने के बाद साबुन तैयार हो जाता है. विभा देवी ने बताया कि वो महीने में करीब 1300 से 1500 साबुन बनाती हैं. जिसकी कीमत 50 रुपए प्रति साबुन है. हर महीने में करीब 25 से 28 हजार रुपए आसानी से कमा लेती हैं.
12 मिनट पहलेकॉपी लिंकवेटरन एक्ट्रेस मुमताज और यश चोपड़ा फिल्म 'आदमी और इंसान' में साथ…
Hindi NewsBusinessBusiness News Update; Share Market, Gold Silver, Petrol Diesel, Amul Milkनई दिल्ली9 मिनट पहलेकॉपी…
नई दिल्ली9 मिनट पहलेकॉपी लिंकफोटो सितंबर 2023 की है, जब महिला आरक्षण बिल पास होने…
चेन्नई1 मिनट पहलेकॉपी लिंकIPL-18 के 49वें मैच में पंजाब किंग्स (PBKS) ने चेन्नई सुपर किंग्स…
Hindi NewsJeevan mantraJyotishAaj Ka Tarot Rashifal (Horoscope Today) | Daily Tarot Rashifal Thursday (1 May…
1 घंटे पहलेलेखक: आशीष तिवारीकॉपी लिंकअजय देवगन की मोस्ट अवेटेड फिल्म ‘रेड-2’ एक मई को…